EK TARAF USKA GHAR EK TARAF MAIKADA GHAZAL LYRICS IN HINDI FROM THE ALBUM NAYAAB
SONG
एक तरफ उसका घर
एल्बम - नायाब
बोल - ज़फर गोरखपुरी
संगीत और आवाज़ - पंकज उदास
तेरी निगाह से ऐसी शराब पी मैने..
के फिर न होश का दावा किया.. कभी.. मैने..
वो और होंगे जिन्हें मौत आ गई होगी..
निगाहें यार से पाई..-है ज़िंदगी मैने..
BGM
ऐ ग़म-ए-ज़िंदगी Bit
ऐ ग़म-ए-ज़िंदगी कुछ तो दे मशवरा..
ऐ ग़म-ए-ज़िंदगी कुछ तो दे मशवरा..
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा..
मैं कहाँ जाऊँ होता नहीं फ़ैसला..
मैं कहाँ जाऊँ होता नहीं फ़ैसला..
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
BGM
एक तरफ़ बाम पर कोई गुलफ़ाम है
एक तरफ़ महफिलें बादा-ओ-जाम है
एक तरफ़ बाम पर कोई गुलफ़ाम है
एक तरफ़ महफ़िलें बादा-ओ-जाम है
दिल-का-दोनों से है कुछ ना कुछ वास्ता
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
BGM
उसके दर से उठा तो किधर जाऊँगा
मयक़दा छोड़ दूँगा तो मर जाऊँगा
उसके दर से उठा तो किधर जाऊँगा
मयक़दा छोड़ दूँगा तो मर जाऊँगा
उसके दर से उठा तो किधर जाऊँगा
मयक़दा छोड़ दूँगा तो मर जाऊँगा
सख़्त मुश्किल में हूँ क्या करूँ ऐ खुदा..
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
BGM
ज़िंदगी एक है और तलबगार दो
जां अकेली मगर जां के हक़दार दो
ज़िंदगी एक है और तलबगार दो
जां अकेली मगर जां के हक़दार दो
दिल बता पहले किसका करूँ हक़ अदा..
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
BGM
इस ताल्लुक़ को मैं कैसे तोडूँ ज़फ़र
किसको अपनाऊँ मैं किसको छोडूँ ज़फ़र
इस ताल्लुक़ को मैं कैसे तोडूँ ज़फ़र
किसको अपनाऊँ मैं किसको छोडूँ ज़फ़र
इस ताल्लुक़ को मैं कैसे तोडूँ ज़फर
किसको अपनाऊँ मैं किसको छोडूँ ज़फ़र
मेरा दोनो से रिश्ता है नज़दीक का..
एक तरफ उसका घर एक तरफ मयक़दा
एक तरफ उसका घर एक तरफ मयक़दा
ऐ गम-ए-ज़िंदगी कुछ तो दे मशवरा
ऐ गम-ए-ज़िंदगी कुछ तो दे मशवरा..
एक तरफ उसका घर एक तरफ मयक़दा
एक तरफ उसका घर एक तरफ मयक़दा
मैं कहाँ जाऊँ होता नहीं फ़ैसला..
मैं कहाँ जाऊँ होता नहीं फ़ैसला..
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
एक तरफ़ उसका घर एक तरफ़ मयक़दा
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